मुद्रा लोन दिलाने के नाम पर ठगी करने वाला गिरोह बेनकाब, 9 आरोपी गिरफ्तार
फर्जी संस्था बनाकर ऑनलाइन ठगी, कार और 27 मोबाइल फोन जब्त
Hazaribagh : हजारीबाग पुलिस ने फर्जी संस्था बनाकर मुद्रा बैंक से लोन दिलाने के नाम पर लोगों से ठगी करने वाले एक बड़े गिरोह का पर्दाफाश किया है। पुलिस ने इस मामले में 9 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। इनके पास से एक कार, बड़ी संख्या में मोबाइल फोन, सिम कार्ड और कई अहम दस्तावेज बरामद किए गए हैं।
गुप्त सूचना और प्रतिविम्ब ऐप से हुआ खुलासा
हजारीबाग के पुलिस अधीक्षक को 23 दिसंबर 2025 को गुप्त सूचना मिली थी कि कुछ लोग विनोबा भावे नगर, सिंदूर इलाके में बैठकर ऑनलाइन माध्यम से भोले-भाले लोगों को लोन दिलाने का झांसा देकर ठगी कर रहे हैं। इस संबंध में प्रतिविम्ब ऐप पर भी शिकायत दर्ज कराई गई थी, जिसके बाद पुलिस ने मामले को गंभीरता से लिया।
SDPO के नेतृत्व में गठित हुई छापामारी टीम
सूचना की पुष्टि के बाद सदर अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी अमित कुमार के नेतृत्व में एक विशेष छापामारी दल का गठन किया गया। टीम ने त्वरित कार्रवाई करते हुए बताए गए स्थान पर छापा मारा और 9 अभियुक्तों को रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया।
छापेमारी में कार, 27 मोबाइल और रजिस्टर बरामद
छापेमारी के दौरान पुलिस को ठगी से जुड़े कई अहम सबूत हाथ लगे। आरोपियों के पास से
- मारुति सुजुकी ब्रेजा कार,
- 27 मोबाइल फोन,
- 07 सिम कार्ड,
- 23 रजिस्टर/कॉपी बरामद किए गए हैं। इन रजिस्टरों में ठगी के शिकार लोगों के नाम और मोबाइल नंबर दर्ज पाए गए हैं, जिससे गिरोह के संगठित तरीके से काम करने का खुलासा हुआ है।
कोर्रा थाना में मामला दर्ज, आईटी एक्ट की धाराएं भी शामिल
इस मामले में कोर्रा थाना कांड संख्या 230/25 दर्ज किया गया है। आरोपियों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता की विभिन्न धाराओं के साथ-साथ आईटी एक्ट की धारा 66(C) और 66(D) के तहत भी मामला दर्ज किया गया है। सभी गिरफ्तार अभियुक्तों को न्यायिक हिरासत में भेजा जा रहा है।
जनता से पुलिस की अपील
हजारीबाग पुलिस ने आम जनता से अपील की है कि लोन दिलाने के नाम पर किसी भी अनजान व्यक्ति या संस्था को पैसे न दें। किसी भी प्रकार की संदिग्ध गतिविधि या साइबर ठगी की जानकारी तुरंत पुलिस या साइबर हेल्पलाइन को दें, ताकि समय रहते कार्रवाई की जा सके।
ऑनलाइन ठगी के खिलाफ सख्ती का संकेत
इस कार्रवाई को हजारीबाग पुलिस की साइबर अपराध के खिलाफ सख्त रणनीति के तौर पर देखा जा रहा है। पुलिस का कहना है कि ऐसे गिरोहों के खिलाफ आगे भी लगातार कार्रवाई जारी रहेगी।



